अगर 40 डॉलर सस्ता होता है Crude OIl,तो अपने आप खत्म हो जाएगा फ्यूल से एक्सपोर्ट टैक्स

डॉमेस्टिक ऑयल प्रोड्यूसर इंटरनेशनल मार्केट प्राइस के हिसाब से ही क्रूड ऑयल बेचते हैं, जिसकी वजह से उनका प्रोफिट काफी बढ़ जाता है। 

भारत ने रूस से 50 प्रतिशत ज्यादा खरीदा Crude Oil, आयात में 10% पहुंची हिस्सेदारी

रूस से भारत ने मौजूदा वित्त वर्ष में 50 गुना से ज्यादा कच्चे तेल का आयात किया है. पहले के मुकाबले आयात में काफी वृद्धि हुई है.

वर्ष 2022 में क्रूड ऑयल की कीमतें प्रति बैरल 100 डॉलर से नहीं होंगी कम, क्या है वजह?

इंडियन ऑयल का मानना है कि इन तमाम कारणों के बाद भी कच्चे तेल के दाम इंटरनेशनल मार्केट में 100 डॉलर से ज्यादा ही बने रहेंगे.