India UPI Payments: भारत में अब UPI पेमेंट ऐसी आम चीज बन चुकी है कि नकद लेनदेन से ज्यादा ग्राहक इसके जरिये खरीदारी करना और दुकानदार सामान बेचना पसंद कर रहे हैं. अब जल्द ही आप थाईलैंड से भूटान तक सभी दक्षिण एशियाई देशों में जाकर 'UPI है क्या' पूछ पाएंगे. दरअसल जल्द ही भारत के यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (UPI) से वे सभी देश जुड़ने जा रहे हैं, जो BIMSTEC समूह में शामिल हैं. थाईलैंड में बिम्सटेक शिखर सम्मेलन में शिरकत करने गए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) ने समूह के सभी देशों को इस पेमेंट सिस्टम से जुड़ने का ऑफर दिया है.
क्या है इस प्रस्ताव का मकसद
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बिम्सटेक देशों के समूह को आपसी व्यापार और एक-दूसरे के यहां पर्यटन के लिए आवाजाही को बढ़ावा दने के मकसद से ये प्रस्ताव दिया है. बिम्सटेक समूह में भारत के अलावा बांग्लादेश, म्यांमार, नेपाल, श्रीलंका, भूटान और थाईलैंड शामिल हैं. भारत इन सभी में सबसे बड़ी इकोनॉमी वाला देश है. इसी नाते पीएम मोदी ने इन देशों के साथ भारत के आर्थिक लेनदेन को सुगम बनाने के लिए यह प्रस्ताव दिया है. इससे आपसी डिजिटल लेनदेन को बढ़ावा मिलेगा, जिससे सभी देशों की आपसी व्यापार और पर्यटन के लिए अमेरिकी डॉलर पर निर्भरता में भी कमी आएगी और क्षेत्रीय आर्थिक सहयोग को भी मजबूती मिलेगी.
BIMSTEC is an important forum to further global good. It is imperative we strengthen it and deepen our engagement. In this context, I proposed a 21-point Action Plan covering different aspects of our cooperation. pic.twitter.com/6lsTbLwAGc
— Narendra Modi (@narendramodi) April 4, 2025
सात देशों में पहले से चल रहा UPI
भारत का UPI दुनिया के 7 देशों में पहले से चल रहा है. इनमें बिम्सटेक के भी 3 देश नेपाल, भूटान और श्रीलंका शामिल हैं. इसके अलावा मॉरीशस, फ्रांस और सिंगापुर में भी जाकर आप यूपीआई के जरिये भुगतान कर सकते हैं. इसके अलावा भी कई देशों में भारत की देखादेखी यूपीआई जैसे सिस्टम को लॉन्च किया गया है, लेकिन अभी उसका भारत के पेमेंट गेटवे से लिंक नहीं है. भारत में करीब 20 पेमेंट ऐप्स हैं, जो अब इंटरनेशनल ट्रांजेक्शन को भी सपोर्ट कर रही हैं.
यूपीआई से कितना हुआ लेन-देन
यूपीआई के जरिये लेन-देन की संख्या 2024 की दूसरी छमाही में सालाना आधार पर 42 प्रतिशत बढ़कर 93.23 अरब पहुंच गई है. एक रिपोर्ट में यह कहा गया है. वर्ल्डलाइन की 2024 की दूसरी छमाही कीइंडिया डिजिटल भुगतान रिपोर्टके अनुसार, वॉल्यूम और प्राइस के मामले में तीन यूपीआई प्लेटफॉर्म फोनपे, गूगल पे और पेटीएम का दबदबा बना हुआ है. लेन-देन की वॉल्यूम के मामले में, दिसंबर 2024 में सभी लेन-देन में इन तीनें ऐप्स की हिस्सेदारी 93 फीसदी रही। लेन-देन मूल्य के संदर्भ में, हिस्सेदारी 92 प्रतिशत थी.
साल 2016 में शुरू हुए UPI के अब 35 करोड़ यूजर्स
देश में साल 2016 में UPI के जरिये बारकोड स्कैनिंग से पेमेंट की शुरुआत हुई थी. महज 9 साल में इसके यूजर्स की संख्या करीब 35 करोड़ हो चुकी है. तीन दिन पहले यूपीआई पेमेंट उपलब्ध कराने वाले भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (NPCI) ने बताया था कि मार्च 2025 में लगातार 11वां ऐसा महीना रहा था, जब इसके जरिये 20 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा का भुगतान हुआ है. मार्च 2025 में 24.77 लाख करोड़ रुपये के साथ मार्च 2024 के मुकाबले 25 फीसदी ज्यादा भुगतान यूपीआई से किया गया था. यह किसी एक महीने में यूपीआई के जरिये भुगतान करने का आज तक का सबसे बड़ा आंकड़ा भी है.
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भारत की UPI का विदेशों में बढ़ रहा जलवा, अब थाईलैंड से भूटान तक जाकर कर पाएंगे पेमेंट